दक्षिण चीन सागर में ब्रह्मोस से कैसे चीन को बैलेंस कर रहा भारत? जानिए बीजिंग के दुश्मनों के बीच कैसे बढ़ी 'ब्रह्मास्त्र' की डिमांड?

 


रणनीति, सुरक्षा और कारोबारी हितों के नाजुक संतुलन के आधार पर देश अपनी विदेश नीति तय करते हैं। भारत के लिहाज से देखें तो एक तरफ उसे बीजिंग के साथ अपने कारोबारी रिश्ते को भी बनाए रखना है, लेकिन दूसरी तरफ अपनी सीमाओं को सुरक्षित भी रखना है। इसके अलावा भारत का काम अपने पड़ोस में चीन को बैलेंस भी रखना है, खासकर तब, जब चीन हिंद महासागर में दिल्ली को परेशान कर रहा है। भारत इसके लिए इंडो-पैसिफिक की सुरक्षा के लिए बनाए गये संगठन QUAD में शामिल है, जिसमें अमेरिका, जापान और ऑस्ट्रेलिया भी हैं। भारत की इस कोशिश में ब्रह्मास्त्र कहा जाने वाला मिसाइल ब्रह्मोस काफी महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है। ब्रह्मोस को भारत और रूस ने मिलकर बनाया है, जिसे दिल्ली चीन को काउंटर करने के लिए उसके दुश्मनों को दे रहा है। ब्रह्मोस को बेचने के लिए भारत लगातार दक्षिण पूर्व एशियाई देशों के साथ संबंधों का विस्तार कर रहा है।

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